अशोका यूनिवर्सिटी के गिरफ्तार प्रोफेसर की याचिका पर आज सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट

राष्ट्रीय

News by Neha   29 Apr, 2025 21:48 PM

India -Pakistan Conflict: पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद देश में पाकिस्तान के खिलाफ सख्त कदम उठाने की मांग तेज हो गई है।इस बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और तीनों सेनाओं के प्रमुखों के साथ उच्च स्तरीय बैठक की। इस बैठक में पीएम मोदी ने सेना को खुली छूट दे दी है। पीएम मोदी के इस आदेश के बाद पाकिस्तान के ऊपर बर्बादी के बादल छा चुके हैं। लेकिन अब जम्मू-कश्मीर के पूर्व पुलिस महानिदेशक (DGP) एसपी वैद्य ने बड़ा बयान देते हुए कहा है कि पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) को वापस लेने का यह सबसे उचित समय है। उन्होंने कहा कि भारतीय संसद पहले ही पीओके को भारत का हिस्सा मान चुकी है, और मौजूदा हालात इस दिशा में कार्रवाई के लिए बेहद अनुकूल हैं।

चार टुकड़ों में बंटेगा पाकिस्तान 

एसपी वैद्य ने दावा किया कि पाकिस्तान के आंतरिक हालात बेहद खराब हो चुके हैं और देश के बिखरने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी सेना की हालत इतनी खराब है कि वह बलूचिस्तान तक में कार्रवाई नहीं कर पा रही है। खैबर पख्तूनख्वा (KPK) के करीब 60 प्रतिशत हिस्सों से सेना और पुलिस पीछे हट चुकी है, और यह बात खुद पाकिस्तान की मीडिया और अधिकारी स्वीकार कर चुके हैं।

पूर्व डीजीपी ने बताया कि सिंध प्रांत ने बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) के साथ समझौता कर लिया है और जैसे ही भारत-पाक युद्ध छिड़ेगा, बलूचिस्तान, सिंध और खैबर पख्तूनख्वा स्वतंत्रता की घोषणा कर देंगे। 

पाक सरकार से उठा आवाम का भरोसा 

एसपी वैद्य ने यह दावा भी किया कि पाकिस्तान के लगभग सभी पूर्व सेना प्रमुख देश से बाहर रहते हैं, जिससे साफ है कि उनमें देशभक्ति की भावना कमजोर है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी सेना ही देश चलाती है और वहां प्रधानमंत्री के पास कोई असली ताकत नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि यदि भारत PoK में प्रवेश करता है, तो वहां के लोग भारतीय सेना का स्वागत करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान में तानाशाही हावी है, और इमरान खान की गिरफ्तारी ने आम जनता का भरोसा तोड़ दिया है।

पीएम मोदी ने आर्मी को दी खुली छूट 

आज हुई बैठक में सीडीएस अनिल चौहान और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल भी मौजूद थे। सूत्रों के मुताबिक करीब डेढ़ घंटे चली इस बैठक में कई बड़े फैसले लिए गए। पीएम मोदी ने सेना को खुली छूट दे दी है। उन्होंने कहा कि आतंकवाद को मुंहतोड़ जवाब देना हमारा दृढ़ राष्ट्रीय संकल्प है। उन्होंने भारतीय सैन्य बलों की पेशेवर क्षमताओं पर पूरा भरोसा जताया। पीएम मोदी ने कहा कि हमारी जवाबी कार्रवाई का तरीका क्या हो, इसका लक्ष्य क्या हो और इसका समय क्या हो, इस बारे में सैन्य बलों को परिचालन संबंधी फैसले लेने की पूरी छूट है।

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